डेस्क न्यूज़- अगस्त की तरह एक बार फिर सितंबर में IPO की बाढ़ आने वाली है। कुल 10 कंपनियां बाजार से करीब 12,500 करोड़ रुपये जुटा सकती हैं। अगस्त में आठ कंपनियों ने 18,200 करोड़ रुपये जुटाए थे। अगस्त के पहले हफ्ते में एक दिन में 4 IPO खुले। जबकि दूसरे हफ्ते में भी दो दिन में 4 आईपीओ खुले थे। इसमें सबसे बड़ा इश्यू नुवोको विस्टा के 5 हजार करोड़ रुपये का था। आदित्य बिड़ला सन लाइफ म्यूचुअल फंड, उत्कर्ष स्मॉल फाइनेंस बैंक सितंबर में IPO लाने वाली प्रमुख कंपनियों में शामिल हैं। बाजार की तेजी में कंपनियों को उम्मीद है कि आईपीओ को अच्छा रिस्पॉन्स मिलेगा।
बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (BSE) का सेंसेक्स नई ऊंचाई पर पहुंच गया है। यह आज 57 हजार के आंकड़े को पार कर गया है। विजया डायग्नोस्टिक्स और एमी ऑर्गेनिक्स के इश्यू 1 सितंबर को खुलेंगे। दोनों कंपनियां मिलकर 2,465 करोड़ रुपये जुटा सकती हैं। ये दोनों इश्यू 3 सितंबर को बंद होंगे। इसमें विजया डायग्नोस्टिक्स 1,895 करोड़ रुपये और एमी ऑर्गेनिक्स 570 करोड़ रुपये जुटाएगी।
इसके अलावा आरोहण फाइनेंशियल, पेन्ना सीमेंट, पारस डिफेंस और अन्य कंपनियां भी बाजार में उतरेंगी। पतंजलि की रुचि सोया फॉलो-ऑन पब्लिक ऑफर (एफपीओ) के जरिए 4,500 करोड़ रुपये जुटा सकती है। एफपीओ वह कंपनी लाती है जो पहले से ही सूचीबद्ध है। वह मौजूदा शेयरों को बेचकर पैसा जुटाती है।
हाल ही में सेबी ने गोफर्स्ट (गो एयर) के इश्यू को मंजूरी दी है। कंपनी 3,500 करोड़ रुपये जुटाएगी। जबकि सुप्रिया लाइफ साइंसेज, सेवन आइसलैंड भी लाइन में हैं। बाजार के जानकारों का कहना है कि आने वाले समय में बाजार में कुछ गिरावट आ सकती है, लेकिन यह मामूली होगी। बाजार का रुख तेज बना रहेगा।
बिड़ला म्यूचुअल फंड 2,000-2,500 करोड़ रुपये जुटा सकता है। फिनकेयर स्मॉल फाइनेंस बैंक 1,330 करोड़ रुपये, बजाज एनर्जी 5,450 करोड़ रुपये, सुप्रिया लाइफ साइंस 1,200 करोड़ रुपये, पेन्ना सीमेंट 1,550 करोड़ रुपये, उत्कर्ष स्मॉल फाइनेंस 1,350 करोड़ रुपये और सेवन आइसलैंड 400 करोड़ रुपये बाजार से जुटा सकती है।
अगर पेटीएम और मोबिक्विक को सेबी से मंजूरी मिल जाती है तो ये कंपनियां सितंबर में ही बाजार में आ सकती हैं। अगर दोनों कंपनियां आती हैं तो सितंबर में ही कंपनियां इश्यू के जरिए 40 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा जुटा सकती हैं। वहीं दूसरी ओर ओला भी आईपीओ की तैयारी कर रही है। कंपनी बाजार से 15,000 करोड़ रुपये जुटा सकती है। इसमें जापान के सॉफ्टबैंक का निवेश है। कंपनी ने इसके लिए मर्चेंट बैंकरों का चयन किया है। माना जा रहा है कि कंपनी इस साल के अंत तक या अगले साल की शुरुआत में आईपीओ ला सकती है। इसका आवेदन अक्टूबर के अंत तक सेबी में दाखिल किया जा सकता है।
इस साल मार्च में ओला की वैल्यू 3.3 अरब डॉलर आंकी गई थी। हालांकि साल के अंत तक इसका मूल्यांकन 8 अरब डॉलर हो सकता है। ऐसा इसलिए क्योंकि मार्च में कोरोना की वजह से इसका वैल्यूएशन कम हुआ था। इससे पहले स्टार्टअप कंपनी Zomato को लिस्ट किया जा चुका है। जबकि नायका, पेटीएम, पॉलिसीबाजार, मोबिक्विक जैसी कंपनियां सूचीबद्ध होने की तैयारी कर रही हैं।