दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने प्रधानमंत्री मोदी को पत्र लिख पर्यावरण चिंतक सुंदरलाल बहुगुणा को भारत रत्न देने की मांग की है। प्रधानमंत्री को लिखे पत्र में केजरीवाल ने लिखा है कि सुंदरलाल बहुगुणा ने अपना बचपन गांधी जी की प्रेरण से स्वतंत्रता संग्राम में देश को आजाद करने के लिए लड़ते हुए बिताया।
आजादी के बाद ये संत विनोबा भावे जी की प्रेरणा से भूदान और ग्राम स्वराज योजना के कार्यक्रमों में लग गए। जिस समय दुनिया आंख बंद करके पर्यावरण के शोषण में लगी थी और पर्यावरण संरक्षण का भाव अंतरराष्ट्रीय विमर्श में भी नहीं था उस समय उन्होंने राष्ट्र और समूचे विश्व पर आने वाले खतरे को भांपते हुए स्वयं को पर्यावरण की रक्षा के यज्ञ के लिए समर्पित कर दिया।
आगे पत्र में लिखा है कि उनके द्वारा शुरू किया गया चिपको आंदोलन हिमालय से शुरू होकर दक्षिण में कर्नाटक तक पहुंचा। हम भारत के लोगों का सौभाग्य है कि सुंदरलाल बहुगुणा जैसा व्यक्तित्व हमारे देश में पैदा हुआ। उनका पूरा जीवन हमारे लिए प्रेरणा का स्त्रोत है।
आजादी के 75वे साल में जब हम अपने स्वतंत्रता सेनानियों और पिछले 75 वर्ष के सफर में राष्ट्र को सही दिशा देने वाले गणमान्य व्यक्तियों को सम्मानित करने का काम कर रहे हैं तो ऐसे में दिल्ली सरकार की ओर से मेरा आपसे अनुरोद है कि श्री सुंदर लाल बहुगुणा जी को भारत रत्न की उपाधी से सम्मानित किया जाए।
इससे पहले गुरुवार को दिल्ली विधानसभा में भारत के महान पर्यावरण-चिन्तक एवं चिपको आन्दोलन के प्रमुख नेता सुंदर लाल बहुगुणा के स्मारक का अनावरण किया गया। इस मौके पर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि सुंदरलाल बहुगुणा ने पर्यावरण के लिए काम किया। इस अवसर पर हम केंद्र सरकार और प्रधानमंत्री से निवेदन करते हैं कि सुंदरलाल बहुगुणा को भारत रत्न दिया जाए।
बता दें कि उत्तराखंड में अगले साल फरवरी में होने वाले विधानसभा चुनावों में आम आदमी पार्टी अपनी पूरी ताकत के साथ उतर रही है। हाल ही में केजरीवाल ने देहरादून का दौरा भी किया था। यहां उन्होंने पार्टी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा था कि अगर AAP की सरकार उत्तराखंड में आती है तो उन्हें बिजली की समस्या का सामना नहीं करना पड़ेगा।