सड़क पर उतरे श्रमिकों पर पुलिस ने दागे आंसू गैस के गोले

गुजरात के सूरत, कडोदरा बारडोली और पलसाणा में सोमवार को एक हजार से ज्यादा श्रमिक वतन जाने की मांग के साथ सड़क पर उतर गये।
सड़क पर उतरे श्रमिकों पर पुलिस ने दागे आंसू गैस के गोले

डेस्क न्यूज़ – गुजरात में कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों की संख्या दिनप्रतिदिन बढ़ रही है। ऐसी स्थिति में, जो श्रमिक अन्य राज्यों से अपने श्रम के लिए मद्रावतन जाने के लिए यहां आए हैं, उनकी इच्छा भी तेज हो रही है। गुजरात के सूरत, कदोदरा बारडोली और पलसाना में सोमवार को एक हजार से अधिक कार्यकर्ताओं ने अपनी मातृभूमि जाने की मांग को लेकर सड़क पर उतर गए। इससे पुलिस और श्रमिकों के बीच घर्षण हुआ। पुलिस को हजारों कार्यकर्ताओं को आंसू गैस के गोले छोड़ने पर मजबूर होना पड़ा।

जानकारी के अनुसार, दक्षिण गुजरात के सूरत के बारडोली, कटोरा और पलसाना में हजारों लोग सड़क पर उतर आए। वे अपने मादरेवतन जाना चाहते थे। लेकिन उनके जाने के लिए तो कोई बस और ही ट्रेन की व्यवस्था की जा सकी। घटना की सूचना मिलते ही उच्च अधिकारियों का काफिला वहां पहुंचा। पुलिस ने कार्यकर्ताओं को काफी समझाने की कोशिश की लेकिन वे छोड़ने के लिए अपने रास्ते पर अड़े थे। इसने पुलिस को हैरान कार्यकर्ताओं को नियंत्रित करने के लिए आंसू गैस के गोले छोड़ने के लिए मजबूर किया। इससे खूंखार मजदूरों पर पत्थर भी फेंके गए। पुलिस ने कई अपचारी श्रमिकों को भी हिरासत में ले लिया है। फिलहाल पूरे इलाके में पुलिस की सख्त व्यवस्था की गई है।

सूरत, वापी, दक्षिण गुजरात के भरूच और सौराष्ट्र और अहमदाबाद के अन्य प्रांतों के लोग भी रोटी के लिए आते हैं। कपड़ा, हीरा, रोलिंग मिल, रसायन सहित विभिन्न उद्योगों में बाहर के श्रमिक काम करते हैं। दक्षिण गुजरात के सूरत शहर में, अब लाखों मजदूर कढ़ाई क्षेत्र में भी अपनी आजीविका कमा रहे हैं। हालांकि, देश में कोरोना वायरस के कारण लॉकडाउन शुरू होने के कारण, श्रमिक बेकार हो गए हैं। उनकी आर्थिक स्थिति भी खराब हो गई है। राज्य सरकार के लाख प्रयासों के बाद भी इन लाखों श्रमिकों को दो दिन की रोटी भी नहीं मिल पा रही है। साथ ही, इन श्रमिकों को घर के किराए सहित अन्य सुविधाओं के लिए धन की कमी का भी सामना करना पड़ रहा है। जिसके चलते ये कार्यकर्ता अपने मदरवतन जाना चाहते हैं। राज्य सरकार द्वारा उनके लिए विशेष ट्रेनों की व्यवस्था किए जाने के बाद भी अराजकता का माहौल है।

उल्लेखनीय है कि राज्य सरकार उत्तर प्रदेश और बिहार के लिए ट्रेनों की व्यवस्था कर रही है, विशेष ट्रेनों द्वारा दूसरे राज्यों से श्रमिकों को उनके देश में भेजा जा रहा है। हालांकि, ट्रेनों की संख्या बढ़ाने की मांग है क्योंकि श्रमिकों की संख्या अधिक है।

श्रमिकों ने कराया मुंडन

वतन में जाने की व्यवस्था होने से नाराज सूरत के पांडेसरा क्षेत्र के 70-80 श्रमिकों ने मुंडन करवाकर विरोध व्यक्त किया। वहीं बहुत से श्रमिक बस संचालकों के शोषण का शिकार भी हो रहे हैं। इनके पास से किराया वसूल करने के बाद भी इनके जाने की व्यवस्था नहीं की जा रही हैं।

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