न्यूज – महाराष्ट्र में भाजपा को स्थापित करने वाले दिवंगत गोपीनाथ मुंडे की बेटी, भाजपा की फायरब्रांड नेता और राज्य की पूर्व मंत्री पंकजा मुंडे की एक फेसबुक पोस्ट से महाराष्ट्र के राजनीतिक हलके में एक बार फिर उथल-पुथल के संकेत मिल रहे हैं। पंकजा मुंडे ने अपने समर्थकों को गोपीनाथ मुंडे की जयंती पर 12 दिसंबर के दिन बीड के गोपीनाथगढ़ पहुंचने को कहा है। उम्मीद की जा रही है कि उस दिन वह कोई बड़ा विस्फोट कर सकती हैं।
पंकजा ने ट्विटर पर अपने प्रोफाइल से भारतीय जनता पार्टी से जुड़ी जानकारी हटा दी है, पंकजा के इस कदम से ऐसा लग रहा है कि वह अपने राजनितिक भविष्य को लेकर कोई बड़ा कदम उठा सकती हैं और अटकलें इस बात की भी लगाई जा रही हैं कि वह भाजपा को छोड़ शिवसेना में शामिल हो सकती हैं।
पंकजा ने ऐसी कई बातें वरिष्ठ नेताओं को सबूत के साथ बताई हैं कि किस तरह उन्हें चुनाव हरवाने के लिए काम किया गया। सूत्र बताते हैं कि वरिष्ठ नेताओं के समक्ष व्यथा व्यक्त करते वक्त पंकजा का सारा रोष पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़नवीस के खिलाफ रहा है।
अपनी हार से आहत पंकजा मुंडे ने फेसबुक पर एक भावुक पोस्ट लिखकर अपने समर्थकों को 12 दिसंबर के दिन गोपीनाथ मुंडे की जयंती पर बीड के गोपीनाथगढ़ पहुंचने को कहा है। ऐसे में सवाल यह है कि क्या उस दिन पंकजा वही सब कहेंगी, जो वह भाजपा के वरिष्ठ नेताओं को बता चुकी हैं? क्या वह इस बात का खुलासा करेंगी कि उनकी हार में किस-किस का हाथ है? क्या वह इस बहाने राज्य की ओबीसी राजनीति में कोई नया कार्ड प्ले करने जा रही हैं?
बीजेपी के कुछ बड़े नेताओं का कहना है कि पंकजा मुंडे नाराज जरूर हैं, लेकिन ऐसा नहीं लगता कि वह पार्टी के खिलाफ कुछ करेंगी। हालांकि इन नेताओं का कहना है कि किसी व्यक्ति विशेष के बारे में अगर उनके मन में गुस्सा है, तो वह उसे अपने समर्थकों के समक्ष प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से व्यक्त कर सकती हैं। उस पर टिप्पणी के लिए पंकजा से बात करने की कोशिश की गई तो उससे संपर्क नहीं सका।