डेस्क न्यूज़: मध्यप्रदेश में रीवा जिले के मऊगंज कस्बे की तस्वीर ने एक बार फिर देश की स्वास्थ व्यवस्था को शर्मसार कर दिया है। यहां सांप के काटने से एक महिला की मौत के बाद पति को शव ले जाने के लिए शव वाहन (Ambulance) नहीं मिला। मजबूरन उसे अपनी पत्नी के शव को लकड़ी की तरह मोटरसाइकिल पर बांधकर लेजाना पड़ा।
मऊगंज थाना क्षेत्र के सुरवही गांव निवासी श्यामवती जायसवाल को सांप ने काट लिया, जिसके बाद उन्हें इलाज के लिए मऊगंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र लाया गया। अस्पताल में डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। शव का पोस्टमार्टम कराने के बाद उसे परिजनों को सौंप दिया गया, लेकिन शव लेजाने के लिए कोई एम्बुलेंस या शव वाहन नहीं मिला। डॉक्टरों ने मृतक महिला के परिजनों को बताया कि अस्पताल में शव वाहनों की कमी है और आपको अपने आप से शव लेजाना पड़ेगा।
इसे सिस्टम की संवेदनहीनता ही कहें कि जिस अस्पताल में शासन और प्रशासन की व्यवस्था के साथ लोग शव वाहनों का दान भी करते हैं, वहां शव को ले जाने के लिए परिजनों को शव वाहन तक मयस्सर नहीं होता।
हालांकि मऊगंज में कोरोना काल में प्रशासनिक लापरवाही की यह पहली तस्वीर नहीं है। तीन दिन पहले मऊगंज नगर परिषद के वार्ड नंबर 6 से ऐसी ही एक और तस्वीर सामने आई थी जब कंटेनमेंट जोन में रहने के कारण असहाय पिता को अपनी बेटी के इलाज के लिए 8 घंटे तक मशक्कत करनी पड़ी थी। बाद में कंटेनमेंट जोन का जाल तोड़कर पिता ने खुद को जबरदस्ती अपनी बेटी को ठेले में बिठाकर अस्पताल पहुंचाया। इसके बाद ही बच्ची का इलाज संभव हो सका और अब वह खतरे से मुक्त हो पाई।