फेसबुक की पूर्व कर्मचारी ने फेसबुक को किया सवालो के कटघरे में खड़ा; कंपनी ने BJP सांसद से जुड़े फर्जी अकाउंट ब्लॉक नहीं किए थे

आखिरी मौके पर हमने महसूस किया कि यह BJP के एक बड़े नेता से जुड़ा था, वे लोकसभा सांसद भी हैं।
फेसबुक की पूर्व कर्मचारी ने फेसबुक को किया सवालो के कटघरे में खड़ा; कंपनी ने BJP सांसद से जुड़े फर्जी अकाउंट ब्लॉक नहीं किए थे

भारत में जब भी किसी राज्ये में चुनाव होता है तो सबसे बड़ी भूमिका सोशल मीडिया की उभर कर सामने आती है वही सोशल मीडिया में फेसबुक की बात करे तो हर पार्टी का अपना – अपना प्रचार प्रसार इसके माध्यम से होता है जिसमे हर पार्टी के एक बड़े आईटी सेल की भूमिका रहती है जो की उस चुनाव में हर भाग पर अपनी अमीठ छाप छोड़ता है। वही हर चुनाव में फेसबुक भारत में कई कंट्रोवर्सी मुद्दों को लेकर सवालो के कठघरे में खड़ा रहता है. फेसबुक की पूर्व कर्मचारी ने फ़र्ज़ी अकाउंट पर कई बड़े खुलासे किये है।

इस कर्मचारी का नाम सोफी झांग है और सोफी ने 3 साल फेसबुक के साथ काम किया था और अब वह व्हिसलब्लोअर बन गई हैं। 2020 में उन्हें खराब काम का हवाला देकर कंपनी से निकाल दिया गया था। और उस समय सोफी ने फेसबुक की पूर्ण कार्यप्रणाली को समज लिया था .

मुझे किसी से जवाब नहीं मिला कि इस फर्जी अकाउंट के साथ क्या करने वाले हैं

भारत में एक मीडिया को दिए को इंटरव्यू में उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा, कांग्रेस और आम आदमी पार्टी ने चुनावों को प्रभावित करने के लिए फर्जी अकाउंट्स का इस्तेमाल किया। हालांकि, सिर्फ भाजपा सांसद से सीधे जुड़े अकाउंट के नेटवर्क को फेसबुक ने नहीं हटाया। सोफी ने कहा कि हमने 5 नेटवर्क में से 4 को हटा दिया। 5वें नेटवर्क को भी हम हटाने वाले थे लेकिन आखिरी मौके पर हमने महसूस किया कि यह BJP के एक बड़े नेता से जुड़ा था। वे लोकसभा सांसद भी हैं। इसके बाद पता ही नहीं चला कि क्या किया जा रहा है। इस पर मुझे किसी से जवाब नहीं मिला कि इस फर्जी अकाउंट के साथ क्या करने वाले हैं

अंखी दास को देना पड़ा था इस्तीफा

फेसबुक की पब्लिक पॉलिसी की हेड रहीं अंखी दास को कंपनी से इस्तीफा देना पड़ा था। उन पर आरोप लगे थे कि सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर हेट कंटेंट को रोकने में वे पक्षपात कर रही हैं। अंखी भारत में कंपनी के लिए काम करने वाली शुरुआती एम्पलाई में से एक थीं।

अंखी उस वक्त चर्चा में आई थीं जब द वाल स्ट्रीट जर्नल की एक रिपोर्ट में उनका नाम लिखा गया था। रिपोर्ट में लिखा गया था कि अंखी भाजपा और हिंदुत्व समूहों से जुड़े नेताओं की नफरत वाली पोस्ट के खिलाफ कार्रवाई नहीं होने देतीं। फेसबुक के कर्मचारियों ने टी. राजा सिंह की भड़काऊ पोस्ट का मामला उठाया था। राजा सिंह तेलंगाना में भाजपा विधायक हैं और वह अक्सर भड़काऊ बयान देने के लिए सुर्खियों में रहते हैं।

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