जयपुर के सीकर बाईपास स्थित हरमाड़ा के पास प्राइवेट हॉस्पिटल में आग लग गई। पूरे कैंपस में अफरा-तफरी का माहौल हो गया। मरीजों को शिफ्ट किया जाने लगा। इतने में ऑक्सीजन सपोर्ट पर रही महिला कोविड पेशेंट को सीढ़ियों के रास्ते ऊपर लाते समय गिर गई। इसके बाद उसकी हालत लगातार बिगड़ती गई। दूसरे अस्पताल में शिफ्ट करने से पहले ही दम तोड़ दिया। इसके बाद परिजनों ने जमकर हंगामा किया। पुलिस ने बमुश्किल मामले को संभाला।
स्थानीय लोगों के मुताबिक, हॉस्पिटल के बेसमेंट में बने एक्स-रे रूम में शॉर्ट
सर्किट से आग लगी। पूरा बेसमेंट धुआं-धुआं हो गया।
बेसमेंट में ही बने वार्ड में करीब एक दर्जन कोविड के मरीज भी भर्ती थे।
इन्हें आनन-फानन शिफ्ट किया जाने लगा।
इसी वार्ड में नींदड़ निवासी आशा देवी (25) भी भर्ती थीं। वह ऑक्सीजन सपोर्ट पर थीं। ऑक्सीजन हटाकर सीढियों के रास्ते आशा को ऊपर लाया जा रहा था, इतने में वह गिर गईं। इसके बाद उसे सांस लेने में ज्यादा तकलीफ होने लगी। शास्त्री नगर स्थित एक अन्य निजी अस्पताल शिफ्ट करने का निर्णय लिया गया। शिफ्टिंग की प्रक्रिया शुरू होती, उससे पहले ही मौत हो गई।
आशा देवी की मौत की सूचना के बाद अस्पताल के बाहर परिजनों ने हंगामा शुरू कर दिया। बुजुर्ग महिलाएं रोने लगीं और उन्होंने अस्पताल प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाया। इस दौरान मौके पर पहुंची पुलिस ने हंगामा कर रहे परिजनों को समझाकर शांत कराया। पुलिस का कहना है कि महिला की मौत ऑक्सीजन की कमी के चलते हुई। ऑक्सीजन की कमी को देखते हुए ही उसे दूसरे अस्पताल शिफ्ट किया जा रहा था, जबकि अन्य मरीजों को अस्पताल में ही दूसरे-तीसरे फ्लोर पर शिफ्ट किया गया।