Tredmill News: दिल्ली के CM के बेटे की Tredmill का काला कारनामा खोलने पर पजाब सरकार की पुलिस इतना ज्यादा गुस्सा हो गई की 6 फरवरी 2024 की रात सोशल मीडिया में ‘दिल्ली के एक पत्रकार’ को उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर से ‘किडनैप’ कर लिया।
फिर पता चला कि जिनलोगों ने पत्रकार को किडनैप किया है, वे आम आदमी पार्टी (AAP) शासित पंजाब पुलिस से थे।
पंजाब पुलिस ने जिस जिस पत्रकार को उठाया है, वे Youtuber रचित कौशिक हैं। वे ‘सब लोकतंत्र’ नाम से सोशल मीडिया में चैनल चलाते हैं।
Report Bharat को मिली जानकारी के अनुसार दिल्ली के शाहदरा में रहने वाले रचित कौशिक अपनी भांजी की शादी में शामिल होने के लिए उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर गए थे। एक पादरी की शिकायत के आधार पर पंजाब पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार किया है।
असल में दिल्ली के CM अरविंद केजरीवाल और उनके बेटे के कथित भ्रष्टाचार को लेकर रचित ने एक वीडियो बनाया था।
एक अन्य ट्विटर हैंडल ने यह वीडियो ट्वीट किया। इस ट्वीट देखकर एक पादरी की भावना आहत हुई और उसने पुलिस से शिकायत कर दी।
इस शिकायत पर तत्परता दिखाते हुए पंजाब पुलिस ने किडनैपिंग वाले अंदाज में रचित कौशिक को UP से उठा लिया।
दिलचस्प यह है कि पादरी की शिकायत पर दर्ज FIR में कहीं भी रचित कौशिक या ‘सब लोकतंत्र’ चैनल का जिक्र नहीं है। न ही इसमें केजरीवाल के उस वीडियो का जिक्र है जिसे सोशल मीडिया में उनकी गिरफ्तारी का आधार बताया जा रहा है।
यह FIR ‘नो कन्वर्जन’ नामक ट्विटर हैंडल पर धार्मिक भावना आहत करने का आरोप लगाती है। इसी ट्विटर हैंडल से यह वीडियो साझा किया गया था।
जानकारी के अनुसार, 6 फरवरी 2024 की शाम 7 बजे के आसपास रचित कौशिक को एक सफेद रंग की स्कार्पियो में आए चार सिख पुलिसकर्मी उठा ले गए।
पुलिसकर्मियों ने वर्दी नहीं पहन रखी थी और ना ही उनके साथ स्थानीय पुलिस थी। पादरी ने लुधियाना में इसी साल जनवरी में मामला दर्ज कराया था।
रचित कौशिक के इन्स्टाग्राम से की गई पोस्ट के अनुसार, हाल ही में उन्होंने AAP नेताओं के भ्रष्टाचार को लेकर एक वीडियो बनाया था जिसके बाद उनकी गिरफ्तारी हुई है। उनके परिवार ने आरोप लगाया है कि ऐसा उनसे बदला लेने के लिए किया गया है।
रचित के परिवार ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से इस मामले में दखल देने की अपील की है।
रचित कौशिक की मां ने बताया है कि रचित कौशिक 6 फरवरी की शाम को मुजफ्फरनगर में अपनी भांजी को एक पार्लर से लेकर शादी वाली जगह पर जा रहे थे।
इसी दौरान एकाएक एक सफेद स्कॉर्पियो उनकी गाड़ी के सामने आ गई। जब कौशिक ने गाड़ी रोकी तो स्कार्पियो से उतरे सिख व्यक्ति ने उन्हें उनकी गाड़ी से बाहर खींच लिया।
उनके साथ के लोग जब तक कुछ समझ पाते तब तक उन्हें गाड़ी में बिठा लिया गया और सिर्फ इतना बताया गया कि उनके खिलाफ एक वारंट जारी किया गया है।
जब कौशिक के परिवार वालो ने उत्तर प्रदेश पुलिस को सूचना दी तो पता चला कि उनकी गिरफ्तारी के विषय में स्थानीय थाने को बताया गया था।
पंजाब पुलिस ने यूपी पुलिस को वह FIR भी भेजी जिसके आधार पर उन्हें गिरफ्तार किया गया था। हालांकि, रचित के परिवार को FIR के विषय में नहीं बताया गया है।
बताया गया है कि रचित कौशिक को धार्मिक भावनाएं भड़काने के मामले में गिरफ्तार किया गया है।
उनको गिरफ्तार करने के पीछे लुधियाना में की गई एक FIR का उपयोग किया गया है। इस FIR में पंजाब के लुधियाना के रहने वाले पादरी अलीशा सुलतान ने ट्विटर अकाउंट नो कन्वर्जन (@noconversion) के खिलाफ धार्मिक भावनाएं आहत करने का आरोप लगाया है।
इस अकाउंट के विरुद्ध खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 295A, 153A, 153, 504 और आईटी एक्ट की धारा 67 के तहत मामला दर्ज किया गया है।
जिस अकाउंट के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है, उसने रचित कौशिक का एक वीडियो ट्वीट किया था। इस वीडियो में रचित ने केजरीवाल के बेटे के भ्रष्टाचार को लेकर खुलासा कर रहे हैं।
इस वीडियो में उन्होंने केजरीवाल के बेटे पुलकित पर आरोप लगाया था कि उन्होंने मुख्यमंत्री के बंगले में जिम का सामान किराए पर बाजार भाव से कहीं ज्यादा कीमत पर दिया है।
उन्होंने आरोप लगाया कि यहां लगी चार ट्रेडमिल को उन्होंने किराए पर दिया और इससे ₹10 लाख/माह वसूले।
दावा किया जा रहा है कि इसी आधार पर रचित कौशिक को गिरफ्तार किया गया है। पंजाब पुलिस से उन्हें छोड़े जाने के लिए अब सोशल मीडिया पर आवाज उठ रही है।
इस गिरफ्तारी को अवैध बताया जा रहा है। रचित कौशिक के परिवार और उनके सोशल मीडिया हैंडल्स से भी गिरफ्तारी का विरोध किया गया है।