Rajasthan Election 2023: नेता प्रतिपक्ष राजेद्र राठौड़ ने कहा- गहलोत मुख्यमंत्री नहीं बल्कि घोषणा मंत्री हैं

राजस्थान विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष राजेद्र राठौड़ ने ERCP पर कांग्रेस पर जमकर निशाना साधा है. उन्होंने कहा कि भाजपा की सरकार आते ही ERCP में संशोधन कर के इसको दुबारा लाया जाएगा.
Rajendra Rathore
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Rajasthan Election 2023: राजस्थान में जैसे-जैसे विधानसभा चुनाव नजदीक आ रहे है, नेताओं ने अपनी तैयारी तेज कर दी है. आज यानि 16 अक्टूबर को राजस्थान विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष ने बीजेपी कार्यालय में मीडिया को संबोधित किया. उन्होंने कहा कि जिस ERCP को लेकर कांग्रेस ने अपनी चुनाव का शंखनाद किया है वे इसकी खुद जिम्मेदार है.

राजस्थान विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष राजेद्र राठौड़ ने कहा कि जिस ERCP को लेकर कांग्रेस इतना हंगामा कर कर रही है वे इसकी खुद जिम्मेदार है. नेता प्रति पक्ष ने कहा कि ERCP योजना को अशोक गहलोत और कमलनाथ सरकार ने रोक रखा है. साथ ही साथ उन्होंने कहा कि राजस्थान के लोगों को अशोक गहलोत सरकार ने डूबा रखा है.

राजस्थान के सीएम मुख्यमंत्री नहीं बल्कि घोषणा मंत्री हैं

राजस्थान विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष राजेन्द्र राठौड ने कहा है कि इस योजना को अटकाने के लिए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और मध्यप्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री कमलनाथ दोषी है। राज्य सरकार इस परियोजना को वर्ष 2051 में पूरा करने का दावा कर रही है और इसके विधानसभा में 37 हजार करोड रूपए खर्च करने की घोषणा कर चुकी है लेकिन इसके बाद अब तक इस योजना के नाम पर कोई काम नहीं हुआ है. राजस्थान के सीएम मुख्यमंत्री नहीं बल्कि घोषणा मंत्री हैं।

गहलोत सरकार ने ईआरसीपी के नाम पर छलावा किया

ईआरसीपी के लिए सीएम ने ईआरसीपी कॉरपोरेशन बनाकर 13 हजार करोड देने की बात कही लेकिन अब तक एक पैसा भी खर्च नहीं किया। वहीं राठौड ने कहा कि कमलनाथ ने ही सबसे पहले राजस्थान को एनओसी देने पर एतराज जताया था इसके बाद गहलोत ने राज्य के खर्च पर प्रोजेक्ट को शुरू करने की घोषणा की ओर अब तक सिवाय घोषणाओं के कुछ नहीं हुआ। राठौड ने सोमवार को भाजपा मुख्यालय में प्रेसवार्ता कर कहा कि प्रदेश में कानून व्यवस्था की स्थिति खराब है और पिछले छह माह में यहां सिर्फ 25 फीसदी मामलों को जांच के बाद अदालत तक ले जाया गया है।

राज्य पर 5 लाख 37 हजार का हुआ कर्ज

उन्होंने कहा कि जब सीएम इस योजना पर काम कर रहे हैं तो किस बात के लिए यह जनजागरण यात्रा निकाली जा रही है. उन्होंने कहा कि पिछले पांच वर्षों में राजस्थान आर्थिक आपातकाल की स्थिति में पहुंच गया है. इसके कारण अब प्रदेश में कर्ज बढकर 5 लाख 37 हजार 13 करोड़ का हो गया है. गहलोत सरकार अक्टूबर से दिसम्बर की तिमाही के लिए 14 हजार करोड़ रुपये का कर्ज ले रही है.

25 फीसदी मामलों में ही चालान पेश

इस दौरान राठौड ने राज्य सरकार को कानून व्यवस्था को लेकर घेरा और कहा कि पिछले छह माह में प्रदेश में 1.25 लाख मुकदमे दर्ज हुए थे जिसमें से मात्र 33 हजार मामलों में ही चालान पेश किए गए हैं। ऐसे में प्रदेश में सिर्फ 25 फीसदी मामलों को जांच के बाद अदालत तक ले जाया गया है। वहीं प्रदेश में इन दिनों प्रतिदिन 17 महिलाओं से रेप की वारदात हो रही है और राज्य के कई जिलो में बेटियों की वस्तुओं की तरह नीलामी की जा रही है।

योजनाओं के नाम पर दिया धोखा

राठौड ने राज्य सरकार पर योजनाओं के नाम पर आमजन को धोखा दिए जाने का आरोप भी लगाया। उन्होंने कहा कि सरकार ने राजस्थान स्टेट पावर फाइनेंस एंड फाइनेंसियल सर्विस कॉरपोरेशन लिमिटेड में आवासन मंडल से एक हजार करोड रूपए, रीको से एक हजार करोड तथा आरटीडीसी से भी 1500 करोड रूपए लेकर राजनीतिक स्वार्थो की पूर्ति की जा रही है और सीएम ने अपनी छवि चमकाने के लिए आमजन के 2 हजार करोड रूपए डिजाइन बॉक्स को बांट दिए।

कांग्रेस पार्टी में ज्यादा अंतर्विरोध

प्रेसवार्ता केे दौरान एक सवाल के जवाब में राठौड ने कहा कि भाजपा में टिकट वितरण के बाद बने हालात परिवार का आपस का मामला है और अधिकांश स्थानों पर इसे सुलझा लिया गया है। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस पार्टी में ज्यादा अंतर्विरोध और गुटबाजी है। इसके कारण सितम्बर में पहली लिस्ट जारी करने का दावा करने वाली कांग्रेस पार्टी अब तक अपने प्रत्याशियों की सूची जारी नहीं कर पाई है। उन्होंने सीएम के ईडी के छापों पर दिए बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि योजना भवन मामले में 16 किलो सोना पकडा जाना और गोपाल केसवात की गिरफतारी कांग्रेस नेताओं के भ्रष्ट होने का सीधा प्रमाण है।

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