डेस्क न्यूज़- ब्राह्मणों पर विवादित बयान देने के बाद लगातार हो रहे विरोध को देखते हुए यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल ने ब्राह्मण समुदाय से माफी मांगी है। विप्र सेना के नेताओं ने आज शांति धारीवाल से मुलाकात की। धारीवाल ने इस मुलाकात के दौरान बयान जारी कर माफी मांगी। शुक्रवार को धारीवाल ने अलवर में ब्राह्मणों पर बयान दिया। जिसके बाद बीजेपी के कई नेताओं और ब्राह्मण संगठनों ने विरोध किया था।
शांति धारीवाल ने कहा कि विप्र सेना के एक प्रतिनिधिमंडल ने आज मुलाकात की थी। प्रतिनिधिमंडल ने मुझसे ब्राह्मण समाज के बारे में दिए गए बयान के बारे में पूछा। मैंने प्रतिनिधिमंडल से कहा कि मैंने एक मित्र के साथ हुई बातचीत का संदर्भ दिया था, मुझे नहीं लगा कि मुझे किसी समाज के लिए इस तरह बोलना चाहिए। खासकर ब्राह्मण समाज के लिए तो वह बोल ही नहीं पाते। ब्राह्मण समाज को मार्गदर्शक समाज माना जाता है। अगर कोई यह भ्रम फैलाता है कि अपमान किया गया है, तो यह पूरी तरह से गलत है, मेरे एक दोस्त के साथ हुई बातचीत के संदर्भ को अपमान से जोडकर देखना गलत हैं।
धारीवाल ने शुक्रवार को अलवर में कहा था कि मैं ब्राह्मणों से कहता हूं, तुमने बुद्धि का अनुबंध लिया है। मेरा कोटा कोचिंग संस्थान पूरे देश में प्रसिद्ध है। १०० में से ७० बनिया अपने परिणाम में कैसे आते हैं? तुम लोग कैसे पीछे रह जाते हो? जवाब उनके पास नहीं है। कभी भी देख लो। जब कोटा संस्थान का रिजल्ट आएगा, जिंदल मिलेगा, जैन मिलेगा या अग्रवाल मिलेगा। आपको ऐसे नाम मिलेंगे।
सरकार के मुख्य सचेतक महेश जोशी ने ब्राह्मण संगठनों को सलाह दी थी कि धारीवाल के बयान को आलोचना के बजाय चुनौती के रूप में लें। महेश जोशी ने शांति धारीवाल का बचाव किया, लेकिन धारीवाल के बयान से राजनीतिक विवाद बढ़ता जा रहा था। अब धारीवाल ने माफी मांगते हुए मामले को खत्म करने की कोशिश की है ताकि इस विवाद से पार्टी को नुकसान न हो। शनिवार को विप्र सेना के कार्यकर्ताओं ने धारीवाल के बंगले के बाहर प्रदर्शन किया था।