Mann Ki Baat : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मन की बात (Mann Ki Baat) कार्यक्रम के जरिए राष्ट्र को संबोधित कर रहे हैं. 'मन की बात' कार्यक्रम का यह अब तक का 77वां है. आज प्रधानमंत्री मोदी कोरोना से निपटने के तरीकों रोकथाम के उपायों को लेकर चर्चा कर रहे हैं. इसके अलावा वह प्राकृतिक आपदों को लेकर भी अपनी बात रख रहे हैं. उन्होंने चक्रवात तौकते यास का जिक्र किया है. आपको बता दें कि प्रधानमंत्री मोदी ने इस कार्यक्रम के लिए 13 मई को जनता से उनके विचार सुझाव भी मांगे थे.
Mann Ki Baat : कृषि की बात करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि हमारे देश पर इतना बड़ा संकट आया, इसका असर देश की हर एक व्यवस्था पर पड़ा. कृषि-व्यवस्था ने ख़ुद को इस हमले से काफी हद तक सुरक्षित रखा. सुरक्षित ही नहीं रखा, बल्कि प्रगति भी की, आगे भी बढ़ी. इस महामारी में भी हमारे किसानों ने रिकॉर्ड उत्पादन किया है तो इस बार देश ने रिकॉर्ड फसल खरीदी भी की है. इस बार कई जगहों पर तो सरसों के लिए किसानों को एमएसपी से भी ज्यादा भाव मिला है
Mann Ki Baat : पीएम मोदी ने कहा कि हमारे इन जवानों, इन वॉरियर्स ने जो काम किया है, इसके लिए देश इन्हें सेल्यूट करता है. इसी तरह लाखों लोग दिन रात जुटे हुए हैं, जो काम वो कर रहे हैं, वो इनके रुटीन काम का हिस्सा नहीं है. पीएम मोदी ने कहा कि इस तरह की आपदा तो दुनिया पर 100 साल बाद आई है , एक शताब्दी के बाद इतना बड़ा संकट ! इसलिए, इस तरह के काम का किसी के पास कोई भी अनुभव नहीं था. इसके पीछे देशसेवा का जज़्बा है एक संकल्पशक्ति है. इसी से देश ने वो काम किया है जो पहले कभी नहीं हुआ.
Mann Ki Baat : नरेंद्र मोदी ने कहा कि वास्तव में ये लड़ाई इतनी बड़ी है कि इसमें रेलवे की ही तरह हमारा देश, जल, थल, नभ, तीनों मार्गों से काम कर रहा है. एक ओर खाली टैंकर को एयरफोर्स के विमानों द्वारा ऑक्सीजन प्लांट तक पहुंचाने का काम हो रहा है, दूसरी ओर नए ऑक्सीजन प्लांट बनाने का काम भी पूरा किया जा रहा है. मोदी ने कहा कि साथ ही, विदेशों से ऑक्सीजन, ऑक्सीजन कंसंट्रेटर क्रायोजैनिक टैंकर भी देश में लाए जा रहे हैं, इसलिए, इसमें नेवी भी लगी, एयरफोर्स भी लगी, आर्मी भी लगी DRDO जैसी हमारी संस्थाएं भी जुटी हैं.
उन्होंने कहा कि माताओं-बहनों को ये सुनकर गर्व होगा कि एक ऑक्सीजन एक्सप्रेस तो पूरी तरह महिलाएं ही चला रही हैं. देश की हर नारी को इस बात का गर्व होगा. इतना ही नहीं, हर हिन्दुस्तानी को गर्व होगा.
प्रधानमंत्री ने कहा कि जब ये देश सुनेगा न, देश को गर्व होगा कि लड़ाई हम जीतेंगे. क्योंकि दिनेश उपाध्याय जैसे लाखों-लाखों ऐसे लोग हैं जो जी-जान से जुटे हुए हैं. चुनौती के इसी समय में ऑक्सीजन के ट्रांसपोर्टेशन को आसान करने के लिए भारतीय रेल भी आगे आई है. ऑक्सीजन एक्सप्रेस, ऑक्सीजन रेल ने सड़क पर चलने वाले ऑक्सीजन टैंकर से कहीं ज्यादा तेज़ी से, कहीं ज्यादा मात्रा में ऑक्सीजन देश के कोने-कोने में पहुंचाई है.
नरेंद्र मोदी ने कहा कि इंडस्ट्रियल ऑक्सीजन का उत्पादन करने वाले काफी प्लांट देश के पूर्वी हिस्सों में हैं, वहां से दूसरे राज्यों में ऑक्सीजन पहुंचाने के लिए भी कई दिन का समय लगता है. देश के सामने आई इस चुनौती में देश की मदद की, क्रायोजैनिक टैंकर चलाने वाले ड्राइवरों ने ऑक्सीजन एक्सप्रेस ने, एयरफोर्स के पायलट ने.
ऑक्सीजन की किल्लत को लेकर भी पीएम मोदी ने अपनी बात रखी है. उन्होंने कहा कि जब दूसरी लहर आई, अचानक से ऑक्सीजन की मांग कई गुना बढ़ गई तो बहुत बड़ा चैलेंज था. मेडिकल ऑक्सीजन का देश के दूर-सुदूर हिस्सों तक पहुंचाना अपने आप में बड़ी चुनौती थी. उन्होंने कहा कि ऑक्सीजन टैंकर ज्यादा तेज चले. छोटी-सी भी भूल हो, तो उसमें बहुत बड़े विस्फोट का खतरा होता है.
उन्होंने कहा कि देश की सामूहिक शक्ति हमारे सेवाभाव ने देश को हर तूफ़ान से बाहर निकाला है. मोदी ने कहा कि हाल के दिनों में हमने देखा है कि कैसे हमारे डॉक्टर्स, नर्स फ्रंट लाइन वॉरियर्स, उन्होंने खुद की चिंता छोड़कर दिन रात काम किया आज भी कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि इस सबके बीच कई लोग ऐसे भी हैं, जिनकी कोरोना की दूसरी लहर से लड़ने में बहुत बड़ी भूमिका रही है
कोरोना का जिक्र करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि मैं उन सभी लोगों के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त करता हूं, जिन्होंने अपने करीबियों को खोया है. हम सभी इस मुश्किल घड़ी में उन लोगों के साथ मजबूती से खड़े हैं, जिन्होंने इस आपदा का नुकसान झेला है. पीएम मोदी ने कहा कि चुनौती कितनी ही बड़ी हो, भारत का विजय का संकल्प भी हमेशा उतना ही बड़ा रहा है. देश की सामूहिक शक्ति हमारे सेवा-भाव ने, देश को हर तूफ़ान से बाहर निकाला है.