स्पेशल रिपोर्ट – पहले कदम से मुझको संभाला है, हाथ पकड़कर चलना सीखाया है, सही गलत का पाठ पढ़ाया,किताबों का ज्ञान तो मुझको बहुत से गुरूओं ने दिया पर मेरी पहचान आपने बनायी.. हैप्पी टीचर्स डे टु ऑल, किसी के भी जीवन में पहली शिक्षा परिवार में मिलती है और ये शिक्षा मिलती है अपने मां-बाप से, हमें हमारे जीवन में अच्छा-बुरा, सही-गलत हमारे मां-बाप ही बनाते है,
लेकिन हमारे जीवन में बहुत से ऐसे लोग होते है जो जीवन के अलग-अलग मोड पर हमें अच्छाई की ओर ले जाते है, इनमें सबसे महत्वपुर्ण हमारे शिक्षक होते है, स्कूल हो या कॉलेज हमें जीवन जीने की सही कला वहीं बताते है, शायद स्कूल और कॉलेज का जीवन ऐसा होता है जो इंसान कभी ना तो भूलना चाहता है और ना ही कभी उन यादों को भूलने की कोशिश करता है, क्योंकि ये जीवन का सबसे सुनहरा, और प्यार भरा समय होता है,
शिक्षक न केवल एक व्यक्ति बल्कि पूरे समाज के विकास में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता हैं। ये शिक्षकों द्वारा दिया जानें वाला ज्ञान और मूल्य ही तो है जो किसी व्यक्ति के व्यक्तित्व को आकार देता हैं।
आज शिक्षक दिवस है, जो भारत के दूसरे राष्ट्रपति डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन के जन्मदिन के रूप में मनाया जाता है, डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन का जन्म 5 सितंबर, 1888 को हुआ था। वे । वह एक महान विद्वान, और दार्शनिक व्यक्ति थे और उन्हें भारत रत्न भी मिला था।
1962 में जब वे देश के राष्ट्रपति बने, तो उनके छात्र और मित्रों ने उनका जन्मदिन मनाने की इच्छा जाहिर की। तब उन्होनें कहा कि "मेरे जन्मदिन का जश्न मनाने के बजाय, 5 सितंबर को शिक्षक दिवस के रूप में मनाया जाता है, तो यह मेरा गौरवपूर्ण विशेषाधिकार होगा।" और तभी से शिक्षक दिवस आज के दिन मनाया जाता है,