भारत को रूस से इस साल के आखिर तक एस-400 एयर डिफेंस सिस्टम की पहली खेप मिलने जा रही है। इस अत्याधुनिक सिस्टम के मिलने से जहां भारत की हवाई रक्षा प्रणाली दुरुस्त होगी, वहीं अमरीका से सीएएटीएसए प्रतिबंध का खतरा मंडराने लगा है। अमरीका में यह मांग तेज हो रही है कि भारत पर यह बैन न लगाया जा जाए। अब एक अमरीकी रिपोर्ट खुलासा हुआ है कि भारत की रूसी हथियारों और उपकरणों पर निर्भरता में उल्लेखनीय गिरावट आई है, लेकिन भारतीय सेना रूसी आपूर्ति वाले उपकरणों के बिना प्रभावी ढंग से काम नहीं कर सकती है। कांग्रेसनल रिसर्च सर्विस (सीआरएस) की ताजा रिपोर्ट में कहा गया है कि निकट भविष्य में भारत की रूस की हथियार प्रणालियों पर निर्भरता बनी रहेगी।
यह रिपोर्ट बाइडेन प्रशासन के उस महत्त्वपूर्ण फैसले से पहले आई है, जिसमें बाइडेन प्रशासन को भारत की रूस से सैन्य हथियार की खरीद को सीमित करना होगा। स्वतंत्र निकाय सीआरएस ने अपनी रिपोर्ट 'रूसी हथियार बिक्री और रक्षा उद्योग' में कहा है कि भारत और उसके बाहर कई विश्लेषकों का निष्कर्ष है कि भारतीय सेना रूसी उपकरणों के बिना प्रभावी ढंग से काम नहीं कर सकती और निकट भविष्य में रूसी हथियार प्रणालियों पर उसकी निर्भरता जारी रहेगी।
सीआरएस स्वतंत्र विषयों के विशेषज्ञों के जरिए विभिन्न मुद्दों पर समय-समय पर रिपोर्ट तैयार करता है। इसकी रिपोर्टें कांग्रेस की आधिकारिक रिपोर्ट नहीं हैं और सांसदों को निर्णय लेने में मदद करने के लिए तैयार की जाती है। रिपोर्ट में एक ग्राफिक के जरिए दिखाया गया है कि 2015 के बाद से नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार में रूस से उपकरणों के आयात में लगातार गिरावट आई है। अपनी रिपोर्ट में सीआरएस ने कहा कि 2016 से चल रही रूस निर्मित वायु रक्षा प्रणाली एस-400 को खरीदने की भारत की योजना पर अमरीकाज एडवर्सरीज थू्र सैंक्शंस एक्ट की धारा 231 के तहत अमरीकी रोक लग सकती है।
वाशिंगटन। भारत द्वारा रूस से एस-400 सैन्य मिसाइल प्रणाली खरीदने को लेकर दो अमरीकी सेनेटरों ने सहमति जताई है। अमरीकी सेनेटरों और इंडिया कॉकस के सह-अध्यक्ष मार्क वॉर्नर और जॉन कॉर्निन ने राष्ट्रपति जो बाइडेन को एक पत्र भेजकर भारत पर लगे प्रतिबंधों में छूट देने को कहा है। अमरीकी सेनेटरों मार्क वॉर्नर और जॉन कॉर्निन ने भारत के खिलाफ काउंटरिंग अमरीकाज एडवर्सरीज थ्रू सेंक्शंस एक्ट (सीएएटीएसए) प्रतिबंधों को माफ करने के लिए राष्ट्रपति बाइडेन से आग्रह किया है।