आपातकाल के वो काले दिन …नही भूल सकता देश

आज ही के दिन 1975 को देश में इंदिरा गांधी सरकार ने आपातकाल की घोषणा की थी,
आपातकाल के वो काले दिन …नही भूल सकता देश

: आपातकाल लगते ही विपक्षी राजनीतिक दलों के नेताओं को जबर्दस्ती जेलों में बंद कर दिया गया

:  आपातकाल के दौरान लोगों को पकड़कर नसबंदी कर गई और जेलों में ठूंस दिया गया।

डेक्स न्यूज (एस आई) – 25 जून 1975 से शुरू हुई वो काली दिन कौन भूल सकता है, जिसने देश के लोकतंत्र को तहस-नहस कर दिया था। इंदिरा गांधी ने 25 जून 1975 को देश में आपातकाल घोषित कर दिया था। इसके बाद ये 21 महिनों तक देश में लगा रहा।

आज से 44 साल पहले देश में लोकतांत्रिक इतिहास का वो काला अध्याय शुरू हुआ जिसमें आपातकाल को देश पर थोप दिया गया। आपातकाल के दौरान देश में विपक्षी राजनीतिक दलों के नेताओं को गिरफ्तार किया गया।  

इंदिरा गांधी ने आपातकाल की घोषणा क्यों की…

 12 जून 1975 को इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने एक फैसला दिया था। इलाहाबाद उच्च न्यायालय में फैसला देते हुए इंदिरा गांधी को रायबरेली के चुनाव अभियान में सरकारी मशीनरी का दुरुपयोग करने का दोषी पाया था, साथ ही उनके चुनाव को खारिज कर दिया था, इतना ही नहीं, इंदिरा गांधी पर छह साल तक के लिए चुनाव लड़ने या कोई पद संभालने पर भी रोक लगा दी गई थी,

मामला सुर्पीम कोर्ट पहुंचा और 24 जून 1975 को सुप्रीम कोर्ट ने इलाहाबाद कोर्ट का आदेश बरकरार रखा, लेकिन इंदिरा गांधी को प्रधानमंत्री की कुर्सी पर बने रहने की इजाजत दे दी,

तत्कालीन राष्ट्रपति फखरुद्दीन अली अहमद ने तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के नेतृत्व वाली सरकार की सिफारिश पर भारतीय संविधान की धारा 352 के अधीन देश में आपातकाल की घोषणा की थी,

26 जून को रेडियो से इंदिरा गांधी ने इसे दोहराया, आकाशवाणी पर प्रसारित अपने संदेश में इंदिरा गांधी ने कहा कि जब से मैंने आम आदमी और देश की महिलाओं के फायदे के लिए कुछ प्रगतिशील कदम उठाए हैं, तभी से मेरे खिलाफ गहरी साजिश रची जा रही थी, 21 महीने तक इंदिरा गांधी ने देश में आपातकाल लागू रखा इस दौरान विपक्षी नेताओं को जेलों में ठूंस दिया गया।

आपातकाल की बरसी पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीट किया और एक वीडियो शेयर किया,

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