डेस्क न्यूज (सीआई) – अमेरिका और ईरान में लगातार टकराव बढ़ रहा है। ऐसे में ईरान पर हमलें को लेकर ट्रंप द्वारा फैसला वापस लेने के बाद अब ट्रंप ने सफाई दी है। और कहा है कि 150 मौतें रोकने के लिए 10 मिनट पहले फैसला वापस लेना पड़ा।
इससे पहले अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने ईरान पर हमले की साफ चेतावनी दे दी थी। लेकिन ट्रंप ने अचानक फैसला वापस लेते हुए हमले को रोक दिया।
अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा है कि वह ईरान पर हमले के लिए किसी जल्दबाजी में नहीं है। गुरुवार रात राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप ने ईरान पर हमले का आदेश दे दिया था लेकिन कुछ मिनट पहले इसे वापस ले लिया।
मीडिया में खबरें आने लगीं कि ट्रंप ने ईरान को ओमान के माध्यम से एक वॉर्निंग मेसेज भेजा है। हालांकि ईरान ने इससे इनकार कर दिया। इसके बाद शुक्रवार को ट्रंप ने सिलसिलेवार तरीके से ट्वीट कर दुनिया को यह बताया कि आखिर उन्होंने हमले का आदेश वापस क्यों ले लिया था?
ट्रंप ने लिखा, 'बीती रात हम 3 अलग-अलग जगहों पर हमले के लिए तैयार थे। जब मैंने पूछा कि कितने लोगों की मौत होगी तो एक जनरल ने जवाब दिया- सर, 150 लोगों की।'
ट्रंप ने कहा कि हमले से 10 मिनट पहले मैंने इसे रोक दिया। उन्होंने आगे कहा कि हमारी सेना आधुनिक तकनीक से लैस और दुनिया में सबसे शक्तिशाली है। अमेरिकी राष्ट्रपति ने आगे बताया, 'प्रतिबंध कड़े हैं (ईरान पर) और बीती रात और भी लगा दिए गए।' उन्होंने कड़ा संदेश देते हुए कहा कि ईरान कभी परमाणु हथियार हासिल नहीं कर सकता, न तो अमेरिका के खिलाफ और न ही दुनिया के खिलाफ इस्तेमाल करने के लिए।
वैसे तो दोनों देशों के बीच लंबे समय से विवाद है लेकिन बुधवार को ईरान ने अमेरिका के एक ड्रोन को मार गिराया और कहा कि यह उसके हवाई क्षेत्र में घुस आया था। हालांकि अमेरिका का कहना है कि उसका ड्रोन अंतरराष्ट्रीय हवाई क्षेत्र में था। इसके बाद कई अंतरराष्ट्रीय उड़ानों के रास्ते बदल दिए गए। ईरान के आसमान से होकर गुजरने वाली अमेरिकी और अन्य देशों की विमानों को डर है कि क्षेत्र में जंग छिड़ सकती है।
ट्रंप ने शुक्रवार को एक अन्य ट्वीट में ओबामा पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा, 'राष्ट्रपति ओबामा ने ईरान के साथ एक खतरनाक डील की थी और उसे 150 अरब डॉलर से ज्यादा कैश दे दिया। ईरान बड़े संकट से जूझ रहा था और उन्होंने उसे उबार लिया। उसे परमाणु हथियार बनाने का रास्ता दे दिया।'
अमेरिकी राष्ट्रपति ने आगे कहा, 'लेकिन मैंने डील रद्द कर दी, जिसे कांग्रेस की भी मंजूरी नहीं मिली थी। ईरान पर कड़े प्रतिबंध लगा दिए गए। आज वह पहले की तुलना में काफी कमजोर देश है।'