Madhuri Sonkar
देवभूमि उत्तराखंड (Uttarakhand) के रुद्रप्रयाग जिले में स्थित तुंगनाथ मंदिर (Tungnath Temple) दुनिया का सबसे ऊंचा शिवालय (Highest Shiva Temple In The World) है।
हिंदुओं की आस्था का केंद्र होने के साथ-साथ यह जगह पर्यटन के लिहाज से भी बेहद खास है। यहां से आप हिमालय की मनमोहक वादियां देख सकते हैं और शांत वातावरण में प्रकृति को करीब से महसूस भी कर सकते हैं।
इस मंदिर का निर्माण पांडवों द्वारा किया गया था। महाभारत के युद्ध में हुए नरसंहार के बाद, पांडव ने अपने पापों का प्रायश्चित करने के लिए हिमालय की यात्रा पर निकले थे और इस दौरान उन्होंने तुंगनाथ में भगवान शिव की तपस्या करके यहां शिवलिंग की स्थापना की।
पंच केदार (Panch Kedar) में से एक तुंगनाथ पहुंचने के लिए आपको दुर्गम रास्तों से होकर गुजरना पड़ता है। आमतौर पर, सितंबर और अक्टूबर के महीने में यहां मौसम का मिजाज बेहतर रहता है।
तुंगनाथ मंदिर में आरती का कोई निश्चित समय नहीं है। ऐसा इसलिए, क्योंकि मंदिर बहुत ऊंचाई पर है और यहां मौसम अचानक बदल सकता है। वैसे आप सुबह की आरती देखना चाहते हैं, तो मंदिर खुलने के समय के कुछ देर बाद पहुंच जाएं। आमतौर पर, मंदिर सुबह 5:00 बजे से 6:00 बजे के बीच खुलता है।
शाम की आरती मंदिर बंद होने के समय से कुछ देर पहले होती है। आप मंदिर के पुजारी से इस बारे में पूछकर सही समय जान सकते हैं।