राजस्थान के अलवर शहर में एक सास द्वारा अपने बेटे और बहू पर धर्म परिवर्तन के लिए दबाव बनाने का मामला सामने आया है। पीड़ित दंपति ने विश्व हिंदू परिषद और बजरंग दल के अधिकारियों के साथ पुलिस अधीक्षक से मुलाकात कर इस मामले में सुरक्षा की गुहार लगाई है।
दंपति सोनू और उनकी पत्नी रजनी ने अपने परिवार के सदस्यों पर ही धर्म परिवर्तन के लिए दबाव बनाने का आरोप लगाया है। दंपति ने हिंदू देवी-देवताओं की मूर्तियों और पोस्टरों को फाड़ने के गंभीर आरोप लगाए हैं। इस संबंध में पीड़ित परिवार की ओर से एईबी थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई गई है।
विश्व हिंदू परिषद के जिलाध्यक्ष दिलीप मोदी ने कहा कि अलवर शहर में कुछ लोगों पर धर्म परिवर्तन के लिए दबाव बनाने की कोशिश की जा रही है। शहर की 60 फीट हरिजन बस्ती में कुछ लोग ऐसे भी हैं जो ईसाई धर्म अपना रहे हैं।
मोदी ने आरोप लगाया कि यहां धर्म परिवर्तन की श्रंखला बनाई गई है। वह हिंदू को तरह-तरह के लालच देकर देवी-देवताओं का अपमान करते है और उन पर ईसाई धर्म अपनाने का दबाव बनाता है। ईसाई धर्म न अपनाने पर जोर जबरदस्ती और मारपीट भी की जाती है।
पीड़ित सोनू ने बताया कि हमारे ही परिवार के कुछ लोगों ने ईसाई धर्म अपना लिया है। जब हम पूजा करते हैं। वे पूजा के दौरान अगरबत्ती और दीये जलाकर हवन करते है तो हमारा विरोध किया जाता हैं। देवी-देवताओं के चित्र फाड़ दिए जाते हैं।
हमारे उपर धर्म परिवर्तन के लिए दबाव डाला जाता हैं। सोनू के मुताबिक हम हिंदू रीति-रिवाजों के मुताबिक जीना चाहते हैं लेकिन ये लोग हमें परेशान करते हैं। सोनू ने आरोप लगाया कि उनका कहना है कि हिंदू धर्म में कुछ भी नहीं रखा है सब कुछ जो यीशु मसीह में है।
पीड़ित दंपति ने एसपी को बताया कि हमारे परिवार के सदस्य पिछले दो साल से ईसाई धर्म से जुड़े हुए हैं। तभी से हमें प्रताड़ित किया जा रहा है। पीड़ित ने पुलिस से सुरक्षा की गुहार लगाई है।
इस पर पुलिस अधीक्षक ने कार्रवाई का आश्वासन दिया है। पुलिस अधीक्षक तेजस्विनी गौतम ने कहा कि पीड़ित परिवार और कुछ संगठनों के लोग उनसे मिले थे। पीड़ित के द्वारा धर्म बदलने के लिए दबाव बनाने का आरोप लगाया है। पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है।