हिमाचल प्रदेश में सर्दी की आमद के साथ ही चुनावी सरगर्मी अपने आखिरी पड़ाव पर पहुंच चुकी है। दोनों प्रमुख दल भाजपा और कांग्रेस अपने-अपने चुनावी मेनिफेस्टो जारी कर चुके हैं। कांग्रेस ने अपने चुनावी घोषणा पत्र में 10 लोक लुभावन वादे किए हैं, जिसके जवाब में प्रदेश में सत्तारूढ़ दल भाजपा ने 11 संकल्पों का घोषणा पत्र जारी किया है। भाजपा ने 11 संकल्प आम हिमाचल वासियों से किए हैं, वहीं नारी शक्ति के लिए भी अलग से 11 सकंल्पों की घोषणा की है।
अब बड़ी बात यह है कि कांग्रेस के घोषणा पत्र में जो 10 वादे किए हैं उनमें 300 यूनिट फ्री बिजली, महिलाओं को हर महीने 1500 समेत 5 लाख रोजगार और पुरानी पेंशन होगी बहाल जैसी घोषणा शामिल है, लेकिन कहीं भी विकास को लेकर कोई खास घोषणा नजर नहीं आती। ऐसे में भाजपा का संकल्प पत्र हर हाल में बेहतर और विकास का मॉडल लगता है।
इसमें सैनिक, किसान, युवा, महिला समेत हर वर्ग का ध्यान रखा गया है, साथ ही हर गांव पीएम ग्रामीण सड़क योजना, हिम स्टार्ट अप योजना, पर्यटन पर ध्यान समेत कई ऐसी घोषणाएं की गई हैं, जो प्रदेश को विकास पथ पर ले जाएगी। इतना ही नहीं छात्राओं को स्कूटी, साइकिल, छात्रवृत्ति, फ्री सिलेंडर समेत हर वर्ग के लिए घोषणाएं की हैं। बड़ी बात है समान नागरिक संहिता की घोषणा, जो कि भाजपा के मुख्य एजेंडे में शामिल है।
हिमाचल में समान नागरिक संहिता लागू होगी।
मुख्यमंत्री अन्नदाता सम्मान निधि में छोटे किसानों को 3000 रुपये सालाना देंगे।
आठ लाख रोजगार के अवसरों का सृजन होगा।
हर गांव प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के तहत जोड़ा जाएगा।
शक्ति कार्यक्रम में 12,000 करोड़ रुपये से प्रमुख मंदिरों के आसपास परिवहन और भौतिक बुनियादी ढांचा विकसित होगा। मंदिरों को प्रमुख शहरों से हिम तीर्थ सर्किट के माध्यम से विशेष बसों से जोड़ा जाएगा।
सेब पैकेजिंग सामग्री पर जीएसटी भुगतान को 12 प्रतिशत तक सीमित करेंगे। अतिरिक्त जीएसटी सरकार वहन करेगी।
पांच नए मेडिकल कॉलेज खोले जाएंगे। हर विधानसभा क्षेत्र में मोबाइल क्लीनिक वैन की संख्या दोगुना होगी।
रोजगार सृजन के लिए 900 करोड़ रुपये के कोष के साथ हिम स्टार्ट अप योजना शुरू होगी।
शहीद हुए सैनिकों के आश्रितों के लिए अनुग्रह राशि बढ़ाई जाएगी।
कर्मचारियों की वेतन विसंगतियां दूर करेंगे।
वक्फ संपत्तियों का सर्वे कर इनके अवैध उपयोगी की जांच के लिए न्यायिक आयोग बनेगा।
बीपीएल परिवारों की लड़कियों के लिए विवाह में शगुन योजना राशि 31,000 से बढ़ाकर 51,000 करेंगे।
छठी से बारहवीं कक्षा तक की स्कूली छात्राओं को साइकिल और उच्च शिक्षा प्राप्त करने वाली लड़कियों को स्कूटी देंगे।
500 करोड़ रुपये का एक कोष स्थापित करेंगे। इससे महिला उद्यमियों को होम स्टे स्थापित करने के लिए ब्याज मुक्त ऋण देंगे। महिला स्वयं सहायता समूहों को देने वाले ऋण की ब्याज दर घटाकर दो प्रतिशत करेंगे।
गर्भवती महिलाओं को 25 हजार रुपये देंगे।
देवी अन्नपूर्णा योजना से राज्य में गरीब परिवारों की महिलाओं को तीन मुफ्त रसोई गैस सिलिंडर देंगे।
अटल पेंशन योजना में गरीब परिवारों की 30 वर्ष से अधिक उम्र की महिलाएं शामिल होंगी।
सरकारी स्कूलों में 12वीं कक्षा में शीर्ष 5,000 रैंक हासिल करने वाली छात्राओं को स्नातक तक की पढ़ाई के दौरान 2,500 रुपये प्रतिमाह छात्रवृत्ति देंगे।
ग्रामीण महिलाओं के गोधन के लिए उचित मूल्य की दुकानों पर रियायती दरों पर चारे की खरीद की प्रणाली विकसित करेंगे।
महिलाओं को हिमकेयर कार्ड में कवर न होने वाली बीमारियों के इलाज के लिए स्त्री शक्ति कार्ड में कवरेज देंगे।
हर जिले में दो छात्रावासों का निर्माण करेंगे।
नौकरियों और शैक्षणिक संस्थानों में महिलाओं के लिए 33 प्रतिशत आरक्षण देंगे।
स्थानीय मतदाताओं का कहना है कि ओपीएस के साथ ही कांग्रेस ने महिलाओं को प्रतिमाह 1500 रुपये देने, सेब बागानों को सब्सिडी देने, एक लाख सरकारी नौकरियां देने सहित कई अन्य वादे किये हैं। प्रियंका गांधी वाद्रा के नेतृत्व में कांग्रेस लगातार इन्हीं मुद्दों पर केंद्रित चुनाव अभियान चला रही है। दूसरी तरफ, भाजपा के लिए सबसे बड़ा चुनावी हथियार प्रधानमंत्री मोदी की लोकप्रियता है। शायद यही वजह है कि भाजपा ने राजधानी शिमला और आसपास के इलाकों को प्रधानमंत्री के पोस्टर से पाट दिया है। भाजपा ने उत्तराखंड की तरह यहां भी समान नागरिक संहिता लागू करने का वादा करके चुनावी माहौल अपने पक्ष में करने की कोशिश में है। साथ ही सत्तारूढ़ पार्टी बार-बार जनता को यह बताने का प्रयास कर रही है कि ‘डबल इंजन की सरकार ” को बनाये रखने में ही हिमाचल प्रदेश का हित है।
पुरानी पेंशन होगी बहाल होगी।
युवाओं के लिए 5 लाख रोजगार।
महिलाओं को हर महीने 1500 रुपए।
300 यूनिट फ्री बिजली।
बागवां तय करेंगे फलों की कीमत।
युवाओं के लिए 6800 करोड़ का स्टार्ट-अप फंड।
हर विधानसभा में खिलेंगे 4 अंग्रेजी मीडियम स्कूल।
नई उद्योग नीति, पार्किंग निर्माण पर रहेगा जोर।
मनरेगा की तर्ज पर शहरी आजीविका योजना लागू की जाएगी।
हिमाचल प्रदेश में नई पर्यटन नीति लाई जाएगी।