केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण और वित्त राज्य मंत्री अनुराग ठाकुर ने बुधवार को कोरोनोवायरस संक्रमण के संकट काल में आर्थिक चुनौतियों का सामना करने के लिए 20 लाख करोड़ रुपये के मेगा राहत पैकेज के तहत 15 बड़ी घोषणाएं कीं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देशवासियों को संबोधित करते हुए कोरोना संकट से अर्थव्यवस्था को पुनर्जीवित करने और आर्थिक गतिविधियों को पटरी पर लाने के लिए 20 लाख करोड़ के आर्थिक पैकेज की घोषणा की।
वित्त मंत्री ने एमएसएमई यानी सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों को बढ़ावा देने के साथ-साथ एमएसएमई की परिभाषा में बदलाव की घोषणा की।
MSMEs को बिना किसी संपार्श्विक या बंधक के 3 लाख करोड़ रुपये का जमानत फ्री में देने की व्यवस्था की गई है, जिससे लगभग 45 लाख व्यापारियों को लाभ होगा। यह लोन चार साल के लिए होगा और मूलधन एक साल चुकाने में राहत मिलेगी। इसमें 100 करोड़ रुपये तक का कारोबार करने वाले MSME को 25 करोड़ रुपये तक का ऋण मिलेगा।
संकटग्रस्त एमएसएमई के लिए 20 हजार करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। इससे दो लाख से अधिक एमएसएमई को फायदा होगा। बेहतर प्रदर्शन करने वाले एमएसएमई में 50 हजार करोड़ रुपये का निवेश किया जाएगा। रुपये की निधि का एक कोष। इनके लिए 10 हजार करोड़ लगाए जाएंगे। इस तरह यह शेयर बाजार में एमएसएमई को सूचीबद्ध करने में मदद करेगा।
वित्त मंत्री ने आयकर रिटर्न दाखिल करने की अंतिम तिथि 31 जुलाई से बढ़ाकर 30 नवंबर कर दी है। वहीं, टैक्स ऑडिट की आखिरी तारीख 30 सितंबर से बढ़ाकर 31 अक्टूबर कर दी गई है।