न्यूज – CAA को धार्मिक आधार पर बनाया गया विभाजनकारी प्रावधान बताते हुए यहां भारतीय जनता पार्टी के करीब 76- 80 मुस्लिम नेताओं ने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता छोड़ने की घोषणा की है।
उन्होंने कहा, 'किसी भी समुदाय के वास्तविक तौर पर पीड़ित शरणार्थी को भारतीय नागरिकता मिलनी चाहिये। आप महज धर्म के आधार पर तय नहीं कर सकते कि फलां व्यक्ति घुसपैठिया या आतंकवादी है।'
कुरैशी ने कहा, 'सीएए के वजूद में आने के बाद हमारा अपने समुदाय के आयोजनों में शामिल होना दूभर होता जा रहा था। इन आयोजनों में लोग हमें यह कहकर कोसते थे कि हम सीएए जैसे विभाजनकारी कानून पर कब तक चुप रहेंगे?'उन्होंने बताया कि करीब 80 मुस्लिम नेताओं ने भाजपा के नवनियुक्त राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा को कल बृहस्पतिवार को पत्र भेजकर पार्टी की प्राथमिक सदस्यता छोड़ दी है। इनमें भाजपा के अल्पसंख्यक मोर्चे के कई पदाधिकारी शामिल हैं।
सीएए के खिलाफ भाजपा छोड़ने वाले मुस्लिम नेताओं के पत्र में कहा गया, 'भारतीय संविधान के अनुच्छेद 14 के अंतर्गत किसी भी भारतीय नागरिक को समानता का अधिकार प्राप्त है। किंतु भारतीय जनता पार्टी नीत केंद्र सरकार के सीएए को धार्मिक आधार पर लागू कर देश को बांटने का कार्य किया गया है जो संविधान की मूल भावना के खिलाफ है।