Gujarat election 2022

Gujarat Assembly Election 2022: कांग्रेस की 'चुप्पी' पर मोदी बोले- सावधान!, 'आप' को भी खटका

गुजरात में विधानसभा चुनाव से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दो दिन में अलग-अलग शहरों में कई जनसभाएं कीं और कार्यकर्ताओं में जोश भरने की कोशिश की। उन्होंने कांग्रेस को लेकर भी अलर्ट करते हुए कहा कि वे कांग्रेस की हालिया खाम्रोशी को हल्के में ना लें।

Om Prakash Napit

गुजरात में विधानसभा चुनाव होने हैं। चुनाव से पहले ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी गुजरात का बार-बार दौरा और रैलियां कर भाजपा की सत्ता वापसी के लिए भरसक प्रयास कर रहे हैं। उधर, आम आदमी पार्टी ने भी गुजरात में ताल ठोक रखी है। दिल्ली CM अरविंद केजरीवाल समेत कई 'आप' नेता गुजरात का दौरा कर चुके। केजरीवाल तो कई फ्री की घोषणाएं कर गुजरात में चुनावी रेवड़ियां भी बांट चुके। लेकिन कांग्रेस अब तक कहीं सक्रीय नजर नहीं आ रही।

ऐसे में पीएम मोदी गुजरात में अपनी रैलियों में भाजपा कार्यकर्ताओं को कांग्रेस के 'गुपचुप दांव' से सावचेत कर रहे हैं, साथ ही जनता को भाजपा सरकार के फायदे गिना रहे हैं, ताकि गुजरात की जनता कांग्रेस के किसी झांसे में न आए। गुजरात में PM मोदी ने दो दिन में ही अलग-अलग शहरों में कई जनसभाएं कीं और कार्यकर्ताओं में जोश भरने की कोशिश की है। मोदी ने एक तरफ कांग्रेस के पुराने दिनों को याद कराते हुए जनता को भाजपा सरकार के फायदे बताए वहीं अपने कार्यकर्ताओं को भी चौकन्ना किया। उन्होंने कार्यकर्ताओं से कहा कि अब तक बड़ी रैलियों और सभाओं से दूर दिख रही कांग्रेस को हल्के में ना लें।

जामकंदोरना में मंगलवार को पार्टी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस की रणनीति को लेकर सावधान किया। पीएम ने कहा, ''पिछले चुनावों में गुजरात की जनता ने कांग्रेस की रणनीति को फेल कर दिया। अब कांग्रेस सभाएं नहीं कर रही है, प्रेस कॉन्फ्रेंस नहीं कर रही है और ना ही मोदी को गाली दे रही है। कांग्रेस चुपचाप गांवों में जाकर लोगों से वोट मांग रही है।'' पीएम मोदी ने बिना नाम लिए आम आदमी पार्टी पर भी निशाना साधा और कहा कि पार्टी ने हल्ला मचाने और गाली देने का काम किसी और को सौंप दिया है।

पीएम इसलिए कर रहे सावधान

राजनीतिक जानकारों की मानें तो पीएम मोदी कार्यकर्ताओं को अति-आत्मविश्वास से बचाने की कोशिश कर रहे हैं। ऐसा माना जा रहा है कि भाजपा का काडर इस बार चुनाव को अपने लिए आसान मान रहा है। कांग्रेस को इस बार कम सक्रिय समझा जा रहा है तो अधिकतर बीजेपी कार्यकर्ता 'आप' को अभी चुनौती देने लायक नहीं समझ रहे हैं। काडर में यह भी संदेश फैल गया है कि भाजपा विरोधी वोटों के कांग्रेस और 'आप' में बंटवारे से फायदा होगा। समझा जा रहा है कि पीएम मोदी इसी अति-आत्मविश्वास से बचाने के लिए काडर को सावधान कर रहे हैं।

केजरीवाल को भी है खटका

अब तक भाजपा और कांग्रेस के बीच आमने-सामने की टक्कर वाले राज्य गुजरात में इस बार आम आदमी पार्टी (आप) भी दमखम से उतरी है। रैलियों, सभाओं और रोड शो की बात करें तो 'आप' कांग्रेस से अधिक सक्रिय दिख रही है। 'आप' संयोजक अरविंद केजरीवाल लड़ाई को भाजपा बनाम आप बनाने की कोशिश कर रहे हैं।

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि क्या मोदी राज्य की मुख्य विपक्षी पार्टी के लिए प्रचार कर रहे हैं। मोदी के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए केजरीवाल ने ट्वीट किया, ''क्या प्रधानमंत्री गुजरात में कांग्रेस के लिए प्रचार कर रहे हैं।''

इस बार त्रिकोणीय मुकाबला

आम आदमी पार्टी (आप) के लिए दो महीने में होने वाले चुनाव एक अखिल भारतीय पार्टी के रूप में उभरने का एक अवसर होगा। राज्य में बीजेपी, कांग्रेस और आप के बीच त्रिकोणीय मुकाबला देखने को मिलेगा। विधानसभा चुनाव से पहले गुजरात में शीर्ष राष्ट्रीय नेताओं के लगातार दौरे हो रहे हैं और राजनीतिक अपनी रणनीतियां मजबूत कर रही हैं। गुजरात के शहरों और गांवों की सड़कें राजनीतिक दलों के विज्ञापन बैनर से अटी पड़ी हैं।

'आप' कर चुकी लोक लुभावन घोषणाएं

आप राज्य में बीजेपी का मुकाबला करने के लिए अपने जमीनी संगठन को मजबूत करने में जुटी है। केजरीवाल ने अपनी पार्टी के प्रचार अभियान को प्रति माह 300 यूनिट मुफ्त बिजली, सरकारी स्कूलों में मुफ्त शिक्षा, बेरोजगारी भत्ता, महिलाओं को 1,000 रुपये भत्ता और नये वकीलों को मासिक मानदेय जैसी कई रियायतों पर केंद्रित किया है।

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