राजस्थान

Rajasthan Politics: ‘लाल डायरी’ में सोनिया गांधी के ‘भाई’ का भी नाम, गुढ़ा ने फिर खोले पन्ने

Om Prakash Napit

Rajendra Gudha's Another Revelation on Congress: राजस्थान की राजनीति में ‘लाल डायरी’ ने उथल-पुथल मचा रखी है। इस मामले में कांग्रेस, गाँधी परिवार और राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार को कठघरे में खड़ा करने वाले राज्य के पूर्व मंत्री राजेंद्र सिंह गुढ़ा ने एक और सनसनी खुलासा किया है। कांग्रेस सरकार में मंत्री रहे गुढ़ा ने कहा कि लाल डायरी में सोनिया गाँधी के भाई का जिक्र है। ये ‘रहस्यमयी भाई’ होटल शिव विलास के मालिक के बेटे के समारोह में भी पहुँचे थे।

डायरी में सरकार के भ्रष्टाचार के सबूत होने का दावा

राजेंद्र सिंह गुढ़ा ने कहा कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से सोनिया गाँधी के भाई की मुलाकात का समय फिक्स कराने के लिए मुख्यमंत्री के ओएसडी शशिकांत शर्मा से भी कहा गया था। सवाल पूछते हुए गुढ़ा ने कहा कि सोनिया गाँधी की दो बहनें हैं, लेकिन ये भाई बनकर कौन आ गया? लाल डायरी में कांग्रेस हाईकमान का नाम आने के बाद देश की राजनीति गर्मा गई है।

गुढ़ा ने कहा कि इस लाल डायरी में अशोक गहलोत के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार के भ्रष्टाचार के पुख्ता सबूत मौजूद हैं। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने राजस्थान की जनता के सामने अपने चेहरे पर लोकप्रियता का आवरण लगाकर कैसे-कैसे अनैतिक काम और भ्रष्टाचार किए हैं, ये सब कुछ इसमें मौजूद है।

अरबों के खनन मामले का भी जिक्र

एबीपी की रिपोर्ट के मुताबिक, राजेंद्र सिंह गुढ़ा ने कहा कि राजस्थान में दलाल और अपराधियों के लिए काम किया है, वो सब इसमें है। उन्होंने कहा कि अरबों रुपए के खनन मामले को अशोक गहलोत पहले बंद करवा देते हैं और फिर कहते हैं कि एनओसी नहीं है। इसके बाद एनओसी दिलवाकर इसे चलवा देते हैं। वो एमएलए उनके पास आ जाते हैं।

शिवसेना की टिकट पर चुनाव लड़ रहे राजेंद्र सिंह गुढ़ा ने आगे कहा कि राज्यसभा में वोट देने से पहले किसी को प्रताड़ित किया जाता है तो वोट देने के बाद किसी को पुरस्कार दिया जाता है। मुख्यमंत्री के दो चेहरे हैं। एक पब्लिक में दिखता है और एक अंदर काम करता है। उन्होंने कहा कि वे अशोक गहलोत का असली चेहरा जनता को दिखाना चाहते हैं।

इससे पहले लाल डायरी के 4 पन्ने हुए जारी

इससे पहले 14 नवंबर को राजेंद्र सिंह गुढ़ा ने लाल डायरी के 4 पन्ने जारी किए थे। इसके एक पन्ने में उन्होंने अशोक गहलोत के बेटे वैभव गहलोत के एक फोन का जिक्र किया था। इस फोन कॉल में वैभव गहलोत ने कहा था- “पापा सरकार रिपीट नहीं कर पाएँगे, ये लिखकर दे देता हूँ।”

इस पन्ने पर लिखा है, ”वैभव गहलोत का फोन आया कि पापा इसलिए वापस सरकार नहीं बना पाते हैं… हर बार… इस बार भी… मैं इसलिए लिख के दे सकता हूँ। सरकार बुरी तरह हारेगी। इसका कारण वे स्वंय हैं। अधिकारियों से घिर जाते हैं। उन्हें राजनैतिक व्यक्ति बहुत बुरा लगने लग जाता है। वैभव जी के कहने पर सवाईमाधोपुर में एक स्वीपर का भी ट्रांसफर नहीं किया।”

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