लखनऊ – उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 600 से अधिक अधिकारियों पर भष्ट्राचार के मामलों में कारवाई करते हुए उन्हें अपने पद से जबरन हटा दिया गया या उन पर कारवाई की गई, हालाकि बताया जा रहा है कि अभी ये सिलसिला जारी रह सकता है और 200 से अधिक अधिकारियों पर कारवाई हो सकती है।
इसके अलावा कई अधिकारियों पर कारवाई के तहत् अब उनका प्रमोशन नहीं होगा, साथ ही उन्हें दूसरी जगह भेज दिया जाएगा। ज्यादातर आईएएस और आईपीएस अफसरों पर कार्रवाई की गई है। इन सभी पर फैसला केंद्र सरकार लेगी। इन अधिकारियों की लिस्ट तैयार कर केंद्र सरकार को भेजी गई है।
सरकार के प्रवक्ता श्रीकांत शर्मा ने बताया कि यह पहली सरकार है जिसने 600 से ज्यादा अधिकारियों और कर्मचारियों के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोप में कार्रवाई की है।
गौरतलब है कि, 20 जून सचिवालय प्रशासन विभाग की समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बोईमान और भ्रष्ट अधिकारी को आड़े हाथ लिया था। उन्होंने कहा थआ कि बेईमान-भ्रष्ट अधिकारियों और कर्मचारियों के लिए सरकार में कोई जगह नहीं। इन्हें तत्काल वीआरएस दे दीजिए।
उन्होंने अधिकारियों को ई-ऑफिस की व्यवस्था को तेज गति से पूर्ण करने के निर्देश दिए थे। उन्होंने अधिकारियों को सही समय पर निर्णय लेने और सख्त कार्रवाई करने के भी निर्देश दिए थे।