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बांग्लादेश के कंटेनर डिपो में आग से 44 की मौत, 450 घायल, पुलिसकर्मी और फायर ब्रिगेड के जवान भी झुलसे

अग्निशमन सेवा के सूत्रों के अनुसार घटना के दौरान उनके तीन कर्मचारियों की भी मौत हो गई। मृतकों की पहचान अभी नहीं हो सकी है। चटगांव मेडिकल कॉलेज अस्पताल पुलिस चौकी के उप-निरीक्षक नूरुल आलम ने कहा कि शनिवार रात करीब नौ बजे कंटेनर डिपो में आग लगी थी। फायर सर्विस यूनिट ने इसे बुझाने का काम शुरू किया तब एक धमाका हुआ और आग फैल गई।

ChandraVeer Singh
बांग्लादेश के चटगांव में शनिवार रात एक निजी कंटेनर डिपो (Bangladesh container depot fire) में विस्फोट के कारण भीषण आग से हुए हादसे में 44 लोगों की मौत हो गई वहीं 450 से अधिक घायल हो गए। अधिकारियों ने रविवार को ये जानकारी दी। चटगांव मेडिकल कॉलेज अस्पताल में तैनात एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि अब तक 35 शव मुर्दाघर में पहुंच चुके हैं।

PM शेख हसीना गहरा दुख जताया

बांग्लादेश की पीएम शेख हसीना ने लोगों की मौत पर शोक जताया है। उन्होंने बचाव अभियान के लिए सभी सुविधाएं जुटाने का आदेश दिया है और उच्चाधिकार प्राप्त जांच समिति का गठन कर अगले तीन दिनों में रिपोर्ट की मांग की है। चट्टाग्राम संभागीय आयुक्त (डीसी) अशरफ उद्दीन ने कहा कि मृतकों के परिवारों को 560 अमेरिकी डालर (50,000 टका) दिए जा रहे हैं। घायलों के परिवारों को 224 अमेरिकी डॉलर (20,000 टका) दिए जा रहे हैं।
चटगांव के स्वास्थ्य और सेवा विभाग के प्रमुख इस्ताकुल इस्लाम ने बताया कि शनिवार की रात सीताकुंडा उपजिला के कदमरासुल इलाके में स्थित बीएम कंटेनर डिपो में आग लग गई थी। आग लगने और उसके बाद हुए विस्फोटों में अभी तक 35 लोगों की मौत की पुष्टि हुई है। मृतकों की संख्या बढ़ सकती है।

5 फायर फाइटर्स की भी मौत

अग्निशमन सेवा के सूत्रों के अनुसार घटना के दौरान उनके 5 कर्मचारियों की भी मौत हो गई। मृतकों की पहचान अभी नहीं हो सकी है। चटगांव मेडिकल कॉलेज अस्पताल पुलिस चौकी के उप-निरीक्षक नूरुल आलम ने कहा कि शनिवार रात करीब नौ बजे कंटेनर डिपो में आग लगी थी। फायर सर्विस यूनिट ने इसे बुझाने का काम शुरू किया तब एक धमाका हुआ और आग फैल गई।
एक अधिकारी ने कहा- आग इतनी जबर्दस्त है कि इसे बुझाने के दौरान दमकल विभाग के 5 कर्मियों की भी मौत हो गई है। मृतकों में से एक की पहचान कुमीरा स्टेशन अधिकारी (नर्सिंग सहायक) मोनिरुज्जमां के रूप में हुई है। 15 दमकल कर्मी घायल हुए हैं। वहीं, 2 कर्मी लापता हैं।

एक कंटेनर से दूसरे में फैलती गई आग

नूरुल आलम ने कहा कि शुरू में यह संदेह किया जा रहा था कि कंटेनर डिपो में रखे रसायनों के कारण आग लग गई। रात करीब 11:45 बजे एक बड़ा धमाका हुआ। कंटेनर में केमिकल होने के कारण आग एक कंटेनर से दूसरे कंटेनर में फैलती गई। धमाका इतना तेज था कि आवाज कई किलोमीटर दूर तक सुनी गई। आसपास मौजूद घर हिल गए। कई घरों की खिड़कियों के शीशे टूट गए।
चाटोग्राम में हेल्थ एंड सर्विस डिपार्टमेंट के चीफ के प्रमुख इस्ताकुल इस्लाम ने बताया कि कम से कम 350 लोग चाटोग्राम मेडिकल कॉलेज अस्पताल (CMCH) में भर्ती हैं।

बीएम कंटेनर डिपो की ओर से मिलेगा इलाज का खर्च

बीएम कंटेनर डिपो के निदेशक मुजीबुर रहमान ने कहा कि यह स्पष्ट नहीं है कि आग किस वजह से लगी, लेकिन मुझे लगता है कि आग कंटेनर से शुरू हुई। यह सुनिश्चित करने के लिए व्यवस्था की जा रही है कि घायलों को सबसे अच्छा इलाज मिले। हम इलाज का पूरा खर्च देंगे। घायल लोगों को अधिकतम मुआवजा दिया जाएगा। हम सभी पीड़ितों के परिवारों की जिम्मेदारी लेंगे।

अब तक 14 लोगों की पहचान हो पाई

'द डेली स्टार' के मुताबिक, मरने वाले लोगों में से 14 की पहचान हुई है। इनमें फायर फाइटर मोहम्मद मोनिरुज्जमां (32), फायर फाइटर राणा मिया (22); फायर फाइटर शकील (22), फायर फाइटर अलाउद्दीन (35), इब्राहिम हुसैन (27), मोहम्मद सुमोन (28), तोफायल अहमद (22), अफजल हुसैन (20)मोमिनुल हक (24), मोहिउद्दीन (26), हबीबुर रहमान (26), रबीउल आलम (19), शुमोन (28), और नोयोन (20) शामिल हैं।
मौके पर पहुंचे पुलिस ऑफिसर नुरुल आलम ने कहा- घटना कि जानकारी मिलते ही दमकल की गाड़ियों को रवाना किया गया। अब तक 44 लोगों के शवों को बाहर निकाला जा चुका है। प्राइमरी इन्वेस्टिगेशन से लगता की आग डिपो में रखे केमिकल्स की वजह से लगी है।

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