News: राजस्थान में दुनिया का पहला OM आकार का मंदिर बनकर तैयार, आप कब पहुंच रहे हैं। दक्षिण भारत से लेकर उत्तर भारत और पूर्व भारत से लेकर पश्चिम भारत तक ऐसे लाखों मौजूद हैं, जिन्हें बेहद ही पवित्र माना जाता है।
देश के इन हिस्सों में मौजूद मंदिरों में विशेष मौके पर लाखों देशी और विदेशी भक्त भी पहुंचते हैं।
भारत में लाखों शिव मंदिर भी है, लेकिन आज तक भारत में ओम आकार का मंदिर नहीं था, लेकिन अब वो भी सपना पूरा हो चुका है।
राजस्थान में World दुनिया का पहला ओम आकार का मंदिर बनकर तैयार है। ओम आकार में बनकर तैयार मंदिर की खासियत के बारे में जानने से पहले यह जान लेते हैं कि यह राजस्थान के किस फेमस शहर में मौजूद है।
बता दें कि यह राजस्थान के पाली शहर में मौजूद है। यह पाली जिले की मारवाड़ तहसील के जाडन गांव में है।
Jodhpur से करीब 70 किमी की दूरी पर मौजूद पाली एक औद्योगिक क्षेत्र माना जाता है। पाली शहर राजस्थान के इतिहास के बारे में जानने और ऐतिहासिक पर्यटन स्थलों को घूमने की एक बहुत अच्छी जगह है।
ओम आकार का मंदिर बनकर तैयार होने की वजह से अब यह शहर और भी अधिक चर्चित हो चुका है।
कहा जा रहा है कि इस भव्य मंदिर को बनाने में करीब 28 साल लग गए। माना जाता है कि इस मंदिर का निर्माण साल 1995 में शुरू हुआ था। पूरे 28 साल बाद बनकर तैयार इस मंदिर में 19 फरवरी को प्राण प्रतिष्ठा का कार्य होगा।
ओम मंदिर के बारे में कहा जा रहा है कि मंदिर की लंबाई पूर्व से पश्चिम तक करीब 185 मीटर है और उत्तर से दक्षिण तक करीब 252 मीटर है।
इस मंदिर को ऊपर से देखने पर OM की आकार में दिखाई देता है। आपकी जानकारी के लिए बता दें कि 10 फरवरी को इस मंदिर का लोकार्पण होने वाला है।
OM मंदिर पूर्ण रूप से भगवान शिव को समर्पित है। कहा जा रहा है कि मंदिर में मुख्य आकर्षण का केंद्र भगवान शिव की प्रतिमाएं हैं।
इस मंदिर में करीब 1008 अलग-अलग भगवान शिव की प्रतिमाएं लगाई गई हैं।ओम मंदिर के परिसर में भक्त 12 ज्योतिर्लिंगों को का देशन एक साथ कर सकते हैं।
ओम मंदिर की वास्तुकला बेहद ही कमाल की है। गुलाबी पत्थर से निर्मित इस मंदिर को भारतीय नागर शैली द्वारा निर्मित किया गया है। यह चार मंजिला मंदिर है। इस मंदिर में 108 सुंदर नक्काशीदार कमरे बने हुए हैं।
इस मंदिर में करीब 2000 स्तंभ है, जो शिल्पकला से अलंकृत हैं। इसके अलावा मुख्य शिव मंदिर में करीब 200 स्तंभ हैं, जिनपर अनेकों भारतीय देवी देवताओं की मूर्तियां देखी जा सकती है।